डॉक्टर देवव्रत पांडे को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र विकासखंड गंगेव का बीएमओ बनाए गए
मनगवां सीएमएचओ डॉ एम एल गुप्ता के द्वारा आदेश जारी करते हुए गंगेव सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र का खंड चिकित्सा अधिकारी नियुक्त किया गया है वहीं डॉ आदित्य सिंह कोई मनगवां प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र नियुक्त किया गया है बताया जाता है कि डॉ वेद प्रकाश त्रिपाठी जी का इसी महीने रिटायरमेंट होने के कारण डॉक्टर देववत्त पांडे जी को गंगेव स्वास्थ्य केंद्र कभी बीएमओ नियुक्त किया गया है
देखना यह दिलचस्प होगा कि सीएमएचओ रीवा द्वारा किस दबाव में आकर सीनियरिटी को ताक में रखकर खंड चिकित्सा अधिकारी नियुक्त किया गया जबकि देवव्रत से सीनियर डॉक्टर सीएम मिश्रा गंगेव में ही पदस्थ है उनको अनदेखा करना कहां का नियम है जबकि जबकि डॉ आदित्य सिंह भी गंगेव में ही पदस्थ है डॉक्टर देवव्रत पांडे को मनगवां से गंगेव ले जाना कहां तक न्याय संगत जबकि डॉक्टर देवव्रत पांडे के ऊपर आरोप-प्रत्यारोप लग चुके हैं जबकि डॉ देवव्रत पांडे का ग्रह ग्राम ब्लॉक चिकित्सा अधिकारी के कक्ष से महज दो से 3 किलोमीटर की दूरी पर है डॉक्टर देवव्रत पांडे जी का ग्रह ग्राम होने के कारण वह कितनी मनमानी और कितनी सूज भुज से काम कर पाएंगे या नहीं रीवा सीएमएचओ या ध्यान में रखते हुए नियुक्त करना चाहिए की सीनियर डॉक्टर गंगेव स्वास्थ्य केंद्र नियुक्त हैं तो फिर मनगवां से ले जाकर में गंगेव में प्रभार दिलाना और गंगेव के डॉक्टर को मनगवां लाना कहां का न्याय है सीएमएचओ रीवा किसी न किसी दबाव में या राजनीतिक दबाव कार्य किया यह तो सीएमएचओ रीवा ही जाने जो जनता अभी वेद प्रकाश त्रिपाठी जी का भ्रष्टाचार झेल रही थी वही जनता को अब डॉक्टर देवव्रत पांडे के रूप में और कितने दिन झेलना पड़ेगा आने वाला दिन नहीं बताएगा सीएमएचओ रीवा द्वारा विवादित संतोष चौधरी अकाउंटेंट गंगेव स्वास्थ्य केंद्र भ्रष्टाचार अधिनियम 7 क लोकायुक्त कार्रवाई होने के बावजूद संतोष चौधरी को गंगेव स्वास्थ्य केंद्र का अकाउंटेंट बनाना और गंगेव स्वास्थ्य केंद्र में भ्रष्टाचार पर भ्रष्टाचार वहां की जनता
की जनता झेल पाएगी कि नहीं यह तो जनता जाने डॉ देवब्रत पांडेय जिनकी पोस्टिंग PHC मनगवां में होने के बाद भी CMHO REWA द्वारा CHC गंगेव का प्रभार प्रदान करते हुए BMO का प्रभार प्रदान किया गया एवं CHC गंगेव में पदस्थ डॉ आदित्य सिंह को PHC मनगवां का प्रभार दिया गया जो की पूर्णतः गलत है।
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