मनीष गौतम रीवा
बच जाएगी शिवराज सरकार
सरकार को कोई खतरा नहीं उपचुनाव के नतीजे भाजपा के पक्ष में दिख रहे हैं
मध्य प्रदेश की 230 सदस्यों वाली विधानसभा की 28 सीटों पर मंगलवार यानी 3 नवंबर को सुबह 7 बजे से उपचुनाव के लिए मतदान हो चुका है । प्रदेश के इतिहास में पहली बार एक साथ इतनी सीटों पर उपचुनाव हुए हैं। 19 जिलों में 9,361 मतदान केन्द्रों पर शाम 6 बजे तक होने वाले मतदान में 63.67 लाख मतदाता 355 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला कर चुके हैं । राजनीतिक विश्लेषकों की मानें तो इन 28 सीटों में से 25 पर बीजेपी और कांग्रेस उम्मीदवारों के बीच सीधी टक्कर है जबकि 3 सीटों पर बसपा की मौजूदगी ने मुकाबला त्रिकोणीय बना दिया है।
मध्य प्रदेश विधानसभा की कुल 230 सीटों में से बहुमत के लिय किसी भी एक दल के लिये 116 सदस्यों का बहुमत चाहिये। वर्तमान में शिवराज सिंह चौहान सरकार यानी बीजेपी के पास 107 विधायक हैं, जबकि कमलनाथ की अगुवाई वाली कांग्रेस के विधायकों की संख्या महज 87 है। हाल ही एक कांग्रेस विधायक के इस्तीफे के बाद कुल 29 सीटें खाली है और इनमें से 28 सीटों पर उपचुनाव हो रहा है। ऐसे में कांग्रेस को सत्ता में वापसी के लिये 28 में से 25 सीटों पर जीत जरूरी है। ऐसा होने पर शिवराज सरकार पलट सकती है। लेकिन उपचुनाव प्रचार के दौरान दोनों दलों ने 'करो या मरो' वाली स्थिति में पूरा दमखम लगाया। हालांकि राजनीतिक विश्लेषकों की माने तो 28 में से 25 पर बीजेपी-कांग्रेस के बीच सीधा मुकाबला है। यदि सभी 25 सीटों पर कांग्रेस को जीत नहीं मिलती है तो शिवराज सरकार को खतरा न के बराबर है। हालांकि तब बसपा, सपा और निर्दलीय विधायकों के दम पर सत्ता को चुनौती दिये जाने की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता।
10 नवंबर को होगा फैसला
अतिरिक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी अरुण तोमर के अनुसार कोरोना महमारी के चलते 3 नवंबर को शाम 6 बजे मतदान प्रक्रिया में अंतिम एक घंटा कोविड-19 मरीजों और संदिग्ध संक्रमितों के लिए निर्धारित किया गया था । मतदान प्रक्रिया पूरी होने के बाद 10 नवंबर को मतों की गणना होगी और उसी दिन नतीजों की घोषणा की जायेगी। 28 सीटों पर हो रहे इस उपचुनाव के परिणाम मध्य प्रदेश में किसी भी दल की सरकार बनाने में बेहतद अहम साबित होंगे।
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12 मंत्रियों की साख पर लगा दांव
प्रदेश की इन 28 विधानसभा सीटों के उपचुनाव में कुल 12 मंत्रियों की साख दांव पर लगी है। हालांकि इन सीटों पर कई दिग्गजों के साथ कुल 355 उम्मीदवार मैदान में हैं। जिनके भाग्य का फैसला 63.67 लाख मतदाता ईवीएम में बंद कर चुके हैं।
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