*सम्मान की खोज में घड़ियाली आँसू बहा रहा तथा कथित पत्रकार*
मऊगंज- पत्रकारिता के नाम पर पौवे के जुगाड़ के लिए जगजाहिर पत्रकार को लगा गहरा आघात रेडक्रॉस के द्वारा अधिकारी और कर्मचारियों एवं पत्रकारों के आयोजित सम्मान में पत्रकार के रूप में नही हुई पूंछ परख तो समाचार पत्रों के रिपोर्टरों को बता रहा कांग्रेसी जबकि खुद पत्रकारिता के नाम पर अस्तित्व की तलाश में यही पत्रकार लोकसभा चुनाव में सिद्धार्थ तिवारी के दौरे पर उनके पीछे लगा रहा था दौड़।
पत्रकारो को कांग्रेसी बताने बाले तथा कथित पत्रकार को यह समझना होगा कि ये जिन पत्रकारों पर उंगली उठाकर घड़ियाली आंसू बहा रह है ।
समाचार पत्रों में हैं वे अधिकृत है
तो रोज क्यों लग रही उनकी खबरें।
अपने अस्तित्व को खतरे में देखते हुए कांग्रेस भाजपा के नाम पर प्रशासन के ऊपर उंगली उठाने की कर रहा है नापाक कोशिश।
उसको यह समझना होगा कि यह पत्रकार सुबह शाम विभागों की दलाली चक्कर लगाना मकसद नही बल्कि जनता की आवाज को शासन प्रशासन तक पहुँचाने का किया काम।
देश के जागरण परिवार को देखकर उसे समझना चाहिए कि इस घराने के लोग सीधे तौर पर कांग्रेस और भाजपा की राजनीति में हमेशा रही इनकी धमक लेकिन उनकी पत्रकारिता राजनैतिक सोच से रही कोसो दूर।
कांग्रेस भाजपा के नाम पर उंगली उठाने बाले पहले खुद के चाल चरित्र को देखकर समाचार रिपोर्टरों पर उठाए उंगली और उनके समाचार पत्र के आगामी अंक पर आने बाली खबर को देखकर समझ लें कि कौन है सभी की नजरों में सही मायने में
पत्रकार।।
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